सरकारी क्वार्टर में अवैध हथियार और मादक पदार्थ रखने के मामले में भट्टा बस्ती थाना प्रभारी राजेंद्र सिंह शेखावत को सस्पेंड कर दिया गया है। पुलिस कमिश्नर के निर्देश पर डीसीपी परिस देशमुख ने निलंबन आदेश जारी करने की कार्रवाई की। पुलिस इंस्पेक्टर राजेंद्र सिंह सोमवार दोपहर करीब 3 बजे से गायब है। उनका अभी तक पता नहीं चल सका है। जयपुर में नॉर्थ जिले के जिस भट्टा बस्ती थाने में वह SHO थे, अब उसी थाने की पुलिस उनकी तलाश कर रही है।
इसके अलावा इलाके में रिश्वत में मंतली बंदी वसूलने के मामले में भी भूमिका सामने आने पर भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो की टीम पुलिस इंस्पेक्टर राजेंद्र सिंह की तलाश कर रही है। वह घर भी नहीं पहुंचे। उनका मोबाइल फोन भी बंद आ रहा है। भट्टा बस्ती के पहले वह शहर के सदर और बगरू थाने में एसएचओ रहे थे। वहां शिकायतें होने पर हटाया गया था। इसके बाद फिर से राजनीतिक रसूखात की वजह से वह भट्टा बस्ती थाने में एसएचओ लग गए।
वहीं दूसरी तरफ भट्टा बस्ती थाने के हेड कॉन्स्टेबल अब्दुल रऊफ को एसीबी ने मंगलवार को कोर्ट में पेश किया। जहां उसे जेल भेज दिया गया। बता दें कि सोमवार दोपहर को एसीबी ने हेड कॉन्स्टेबल अब्दुल रऊफ को 15000 रूपए की रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया था। तब पूछताछ में उसने थाना प्रभारी राजेंद्र सिंह के कहने पर रिश्वत लेने की बात कही थी। वह एक भवन निर्माण सामग्री के कारोबारी से 20000 रूपए मासिक बंदी वसूल रहे था।
हेड कांस्टेबल के ट्रैक होने की भनक लगते ही थाना प्रभारी पिछले रास्ते से होकर थाने से बाहर भाग निकले। ऐसे में उनकी भूमिका संदिग्ध हो गई है। इसके बाद एसीबी टीम की तलाशी लेने पर एसएचओ राजेंद्र सिंह के सरकारी क्वार्टर से 5 अवैध कटार, एक देशी कट्टा व 11 जिंदा कारतूस, दो मास्टर की और करीब डेढ़ किलो गांजा मिला। तब थाना प्रभारी राजेंद्र सिंह शेखावत के खिलाफ उन्हीं के थाने में एनडीपीएस और आर्म्स एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया।
अजय सिंह भाटी (मार्मिक धारा)
हर्षवर्धन शर्मा (मार्मिक धारा)